नाटक |
पदकि |
3 |
चार अपशब्द |
पदकि |
14 |
"किंमत" |
पदकि |
3 |
गाठोडं |
निलरंजन |
2 |
अंधार |
मिसळलेला काव्यप्रेमी |
12 |
"खरे सत्य बोला/ जपून जपून" |
पदकि |
9 |
सांब भोळा |
अत्रुप्त आत्मा |
28 |
भूत... वर्त्तमान.... भवीष्य |
ज्योति अळवणी |
1 |
१४ फरवरी (प्रेम दिन) - दोन क्षणिका |
विवेकपटाईत |
5 |
बायल्यावाणी कायले मरतं? : नागपुरी तडका |
गंगाधर मुटे |
56 |
कॉफ़ी |
ज्योति अळवणी |
11 |
आत्म"मुक्ति! |
अत्रुप्त आत्मा |
30 |
"जेसन आणि बोलती बेडकी" |
पदकि |
9 |
चॉकलेटचा बंगला ऽऽ |
पद्मश्री चित्रे |
14 |
श्यामसुंदर मुळे सरांचा शब्द-मेध यज्ञ |
पदकि |
3 |
वैभवशाली वाडा जुना |
प्रमोद देर्देकर |
9 |
मोज्यांचे दालन |
पदकि |
0 |
क. सांगता येत नाही |
जातवेद |
15 |
नकोच सोने हिरेजवाहिर देऊ तू मजला देवा |
विदेश |
6 |
खरी कविता.. |
अत्रुप्त आत्मा |
16 |
स्त्री |
उमेश कोठीकर |
11 |
नेमक काय चुकतंय? |
शब्दबम्बाळ |
0 |
इलेक्शनी- चारोळ्या |
विवेकपटाईत |
3 |
खरड फळा रे खरड फळा |
प्रमोद देर्देकर |
13 |
दोस्ताना! |
ज्योति अळवणी |
9 |
चार पाच वर्षांपूर्वी लिहीलेली कविता |
पिनुराव |
22 |
कावळा *** लकी नसतो; |
चुकलामाकला |
2 |
कुमारी मैत्री विश्वास आठवणी |
ज्योति अळवणी |
12 |
आई .... |
गणेशा |
21 |
वावर |
ऊध्दव गावंडे |
13 |
नेहेमीची गोष्ट |
ज्योति अळवणी |
0 |
देश कसा बुडवावा |
मंदार दिलीप जोशी |
24 |
काळजावर मोगर्याचे वार झाले |
विशाल कुलकर्णी |
18 |
तुझ्याशिवाय |
Sanjay Kokare |
16 |
मन |
ज्योति अळवणी |
2 |
म्हातारी ग मैना |
विवेकपटाईत |
8 |
टॉरेंटगाथा |
स्वामी संकेतानंद |
13 |
लग्नाचे बंध होती पुरुषाचे भोग आता |
ज्ञानोबाचे पैजार |
13 |
स्त्रीजन्म हीच आहे हर स्त्रीची चूक आता |
वेल्लाभट |
41 |
पिक्चरगाथा ('टॉरेंटगाथा'वरून प्रेरित) |
वेल्लाभट |
2 |
निंगे सासरी ... |
ऊध्दव गावंडे |
46 |
पाऊस आठवणींचा… |
शब्दबम्बाळ |
4 |
प्रश्न असा की...... |
चुकलामाकला |
13 |
सामंत |
चाणक्य |
28 |
कोई लौटा दे मेरे, बीते हुए दिन |
नरेंद्र गोळे |
4 |
'बळीच्या घरी सौख्य नांदो सदाचे' |
विशाल कुलकर्णी |
9 |
वेड्या, विठू तुलाही पावेल का कधी रे? |
विशाल कुलकर्णी |
16 |
समाधी |
अत्रुप्त आत्मा |
37 |
हृदयाचा फोन |
महेश अशोक खरे |
5 |
(सोबती) |
स्वप्नज |
7 |
" आईले विचारल म्या " |
Sanjay Kokare |
22 |
अर्घ्य |
विशाल कुलकर्णी |
11 |
पिल्लु |
गणेशा |
19 |
अशांतिचे गाणे... (गीत.) |
अत्रुप्त आत्मा |
27 |
सांज |
आनंदमयी |
7 |
' यज्ञ आहे हा जिवाला जाळण्याचा...' |
drsunilahirrao |
8 |
दे दणादण |
निनाद |
11 |
(सोबती) सकारात्मक. |
प्रभाकर पेठकर |
17 |
सोबती |
सुचेता |
16 |
आरती |
सतिश गावडे |
68 |
मिपाकरलक्षणे |
सस्नेह |
73 |
..का आज सारे गप्प |
मंदार दिलीप जोशी |
21 |
" नवी क्रांती घडवायची आम्हाला " |
Sanjay Kokare |
8 |
नवीन |
चुकलामाकला |
9 |
मी बारच्या टेबलावर (जुना) संत आहे रेखिला |
टवाळ कार्टा |
15 |
सभ्यतेची अभिरूची : नागपुरी तडका |
गंगाधर मुटे |
25 |
समज..! |
अत्रुप्त आत्मा |
60 |
नक्षत्रांचे देणे |
सूड |
39 |
मी हरीच्या पायरीवर पीर आहे रेखिला |
विशाल कुलकर्णी |
14 |
गीत तारकांचे |
सार्थबोध |
3 |